काले तिल खाने के फायदे और नुकसान जानिये इसके 10 चमत्कारी गुण (kale Til khane ke fayde)

काले तिल खाने के फायदे और नुकसान (kale Til khane ke fayde) अचंभित करने वाले हैं। काले तिल कई औषधीय गुणो से भरपूर सेहत के लिए बहुत फायदेमंद माना जाता है।

काले तिल खाने के फायदे और नुकसान

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काले तिल खाने के फायदे और नुकसान – Kale Til khane ke fayde aur nuksan in HIndi

भारतीयों घरों में सदियों से काले तिल का इस्तेमाल पूजा पाठ में किया जाता है।वे पीपल पर तिल चढ़ाते हैं। पीपल पर काले तिल चढ़ाने के फायदे उन्हें अध्यात्मिक शांति के रूप में प्राप्त होती है। तिल का उपयोग कई पकवानों के तैयार करने में किया जाता है।

तिल कई रंगों में उपजाया जाता है, जैसे सफेद, भूरा और काला। लेकिन काले तिल का उपयोग सबसे अधिक होता है। क्योंकि काले तिल सफेद तिल की तुलना में बहुत अधिक गुणकारी माना जाता है।

काले तिल में प्रचुर मात्रा में आयरन और फाइबर पाया जाता है। इसके अतिरिक्त काले तिल के सेवन से शरीर को कैल्शियम, मैग्नीशियम, फास्फोरस, जस्ता और तांबे जैसे आवश्यक खनिजों लवण की प्राप्ति होती है।

इन सभी पोषकतत्व और फाइबर की उच्च मात्रा पाए जाने के कारण काला तिल पाचन तंत्र के लिए लाभकारी माना जाता है। काला तिल सूजन को कम करने और दिल के लिए फायदेमंद माना जाता है।

इसमें पाए जाने वाले अंटीऑक्सीडेंट गुण फ्री रेडिकल्स से शरीर को रक्षा कर कैंसर के जोखिम को कम करता है। इसके अलावा काले तिल का सेवन बालों, त्वचा और ब्लड प्रेशर में भी उपयोगी माना जाता है।

इस प्रकार काले तिल का सेवन स्वास्थ को ढेर सारे फायदे पहुंचा सकता है। लेकिन काले तिल खाने के फायदे के साथ-साथ इसके नुकसान भी हो सकता है। आइए इस लेख में काले तिल खाने के फायदे और नुकसान के बारें में विस्तार से जानते हैं।

काले तिल सेवन के 10 अद्भुत फायदे

काले तिल आवश्यक पोषक तत्वों का भंडार हैं। इसमें कैल्शियम, आयरन, मैग्नीशियम, फाइबर, स्वस्थ वसा और प्रोटीन पाये जाते हैं। ये सभी पोषकतत्व एक अच्छे स्वास्थ्य के लिए जरूरी है।

इस कारण से तिल को सुपरफूड कहा जा सकता है। आइए अब हम काले तिल खाने के 10 प्रमुख फ़ायदों के बारें में विस्तार से जानते हैं।

1. ब्लड प्रेशर को नियंत्रण में सहायक

काले तिल में प्रचुर मात्रा में मैग्नीशियम तथा फास्फोरस जैसे आवश्यक पोषक तत्व मौजूद होते हैं। यह उच्च रक्तचाप के स्तर को नियंत्रित करने में मदद करते हैं।

इस प्रकार उच्च रक्त चाप के नियंत्रित होने से हृदय रोगों से संबंधित बीमारियों की संभावना को कम करने में मदद कर सकते हैं।

2. इम्यूनिटी बूस्ट में कारगर

काले तिल के अंदर विटामिन ई समृद्ध रूप से पाया जाता है। यह एंटीऑक्सिडेंट के रूप में कार्य करते हुए रक्त में ऑक्सीजन के लेवल में बढ़ोतरी करता है।

फलतः इससे शरीर की रोग प्रतिरोधक क्षमता मजबूत होती है, जो शरीर को कई बीमारियों के संक्रमण से बचाती है। काले तिल जिंक का भी अच्छा स्रोत हैं, जो इम्यूनिटी बूस्ट के लिए जरूरी है।

यह ब्लड में सफेद रक्त कण(WBC) को बढ़ाता है। फलतः नियमित रूप से काले तिल के सेवन से रोग प्रतिरोधक शक्ति बढ़ती है।

3. मस्तिष्क के लिए फायदेमंद

काले तिल में कुछ ऐसे पोषक तत्व पाये जाते हैं, जो मस्तिष्क के लिए अत्यंत ही फायदेमंद माना जाता है। क्योंकि काले तिल में मौजूद विटामिन बी1 तथा फैटी एसिड मस्तिष्क के कार्यप्रणाली के विकास में सहायक होता है।

एक अध्ययन के अनुसार काले तिल अल्जाइमर को रोकने में मददगार साबित हो सकता है। इसके नियमित इस्तेमाल से तनाव कम करने में भी मदद मिलती है। यह हमारे एकाग्रता, स्मरण शक्ति, और मानसिक कमजोरी को दूर करने में मददगार है।

4. एंटीऑक्सीडेंट गुणों से भरपूर

काले तिल में शरीर के लिए अत्यंत गुणकारी एंटीऑक्सीडेंट गुण होते हैं। इसके सेवन का हमारे स्वास्थ पर सकारात्मक प्रभाव पड़ता है।

इसमें मौजूद उच्च एंटीऑक्सीडेंट गुण शरीर को फ्री रेडिकल्स से होने वाले नुकसान से बचाने में सहायक होता है।

5. हड्डियों और दांतों के लिए फायदेमंद 

एक अध्ययन के मुताबिक काले तिल में कैल्शियम, मैग्नीशियम, फॉस्फोरस, कॉपर, मैंगनीज, जिंक, आयरन, और फाइबर प्रचुर रूप में पाए जाते हैं। यह हड्डियों और दांतों को मजबूती प्रदान करने में सहायक है।

क्योंकि इसमें हड्डियों के डेंसीटी को बढ़ाने का गुण होता है। जो फ्रैक्चर के जोखिम को कम करने में लाभकारी है। यह हड्डियों को मजबूत करने और बढ़ती उम्र के साथ होने वाली ऑस्टियोपोरोसिस जैसी समस्या को रोकने में कारगर है।

6. हृदय के लिए अत्यंत लाभकारी 

तिल और तिल के तेल का सेवन अन्य तेलों के मुकाबले में हृदय के लिए कम हानिकारक होता है। क्योंकि तिल के तेल में मोनोअनसैचुरेटेड और पॉलीअनसेचुरेटेड वसा पाया जाता है।

इसके अलावा काले तिल में ओमेगा -3 और ओमेगा -6 फैटी एसिड पाया जाता है। फैटी एसिड शरीर में कोलेस्ट्रॉल के स्तर को कम कर शरीर में रक्त परिसंचरण में सुधार कर सकता है। इस प्रकार काले तिल का सेवन स्ट्रोक तथा हृदय रोग के खतरा को कम करने में मददगार है।

7. पाचन तंत्र के लिए लाभकारी

तिल का सेवन पाचन क्रिया को मजबूत रखने में मददगार हो सकता है। एक शोध के मुताबिक काले तिल में उच्च फाइबर भरपूर रूप में होते हैं।

जो हमारे पाचन क्रिया को मजबूत कर कब्ज से छुटकारा दिलाने में मददगार होता है। इसके अतिरिक्त तिल में पाया जाने वाला स्वस्थ वसा आंतों को चिकना रखता है जिससे मल आंतों में कम चिपकता है।

इस प्रकार तिल विषाक्त पदार्थ को शरीर से निकालकर स्वस्थ रहने में मदद करता है। 

8. काले तिल के फायदे बालों के लिए

तिल बालों के लिए लिए सभी तेलों से अधिक गुणकारी होता है। सिर में लगाने के लिए बाजार में उपलब्ध हर प्रसिद्ध तेल में तिल का तेल पाया जाता है। तिल का तेल बालों को काले, मजबूत और घने रखने में मददगार है।

तिल का असमय बालों का पकना और झड़ना कम कर उसे स्वस्थ रखता है। इसके अलावा तिल के बीज भी बालों और त्वचा के लिए भी अत्यंत ही लाभकरी होता है।

9. वजन घटाने में कारगर

काले तिल का सेवन से शरीर को फाइबर, प्रोटीन और स्वस्थ वसा की प्रचुर मात्रा प्राप्त होती है। इसका उपयोग से वजन को नियंत्रित रखने में मदद कर सकते हैं।

तिल में मौजूद फाइबर हमारे भूख को नियंत्रित कर ओवर इटिंग से बचाता है। इस प्रकार काले तिल का नियमित प्रयोग से वजन घटाने में सहायक हो सकती है।

10. त्वचा के लिए फायदेमंद

काले तिल चूंकि एंटीऑक्सीडेंट से समृद्ध होते हैं। इसके सेवन से त्वचा को फ्री रेडिकल्स से होने वाले नुकसान से रक्षा होती है।

इसके अतिरिक्त तिल उम्र बढ़ने के संकेतों को कम करने, कील मुहासों को दूर करने और ग्लोइंग त्वचा के लिए फायदेमंद है।

11. प्रजनन क्षमता में सुधार

काले तिल में मौजूद आवश्यक फैटी एसिड, हार्मोन और प्रजनन क्षमता में सुधार करने में फायदेमंद होता है। इसके अलावा फैटी एसिड पुरुषों में शुक्राणुओं की संख्या को बढ़ाने में भी मददगार है।

तिल महिलाओं में मासिक धर्म को सुधारने तथा गर्भधारण की संभावना को बढ़ाने में मदद करता है।

12. सूजन कम करने में सहायक

काले तिल में मौजूद एंटी-इंफ्लेमेटरी यौगिक शरीर में सूजन को कम करने में अत्यंत ही फायदेमंद साबित हो सकते हैं। इसके सेवन से पुरानी सूजन को कम करने और सम्पूर्ण स्वास्थ्य में सुधार के लिए जाना जाता है।

काले तिल खाने के नुकसान Kale Til Khane Ke Nuksan In Hindi

हमने पढ़ा की काले तिल कई जरूरी पोषक तत्वों के कारण स्वास्थ्य के लिए काफी फायदेमंद होता है। लेकिन परिस्थिति में तिल खाने से नुकसान भी हो सकता है।

फलतः तिल के सेवन शुरू करने से पहले इससे होने वाली हानि के बारें में भी जाननी जरूरी है। तो आइये तिल के कुछ संभावित नुकसान के बारें में जानते हैं।

चूंकि तिल गर्म तासीर की होती है। फलतः इसके अधिक सेवन से दस्त जैसी समस्या हो सकती है। इसके अधिक खाने से अपच, गैस और पेट की अन्य समस्या का भी सामना करना पड़ सकता है।

जिन्हें तिल के सेवन से एलर्जी की समस्या हो उन्हें इसके सेवन से परहेज करना ही अच्छा है।  

निष्कर्ष(Conclusion)

हमने पाया काले तिल का सेवन पोषकतत्वों की दृष्टिकोण से एक बढ़िया आहार है। इसमें मौजूद कॉपर जहाँ आर्थराइटिस में लाभकारी है, वहीं मैग्नीशियम दिल और फाइबर पेट के लिए अच्छा है।

फलतः अपने आहार में इसे शामिल करना एक बुद्धिमानी भरा फैसला हो सकता है। आपको तिल खाने के फायदे और नुकसान से संबंधित जानकारी जरूर अच्छी लगी होगी।

FAQs

तिल कब नहीं खाना चाहिए?

तिल गर्म तासीर का होता है। फलतः गर्मी में तिल का का सेवन कम मात्रा में ही करना उचित रहेगा।

काले तिल को कैसे खाना चाहिए?

काले तिल का सेवन तिल के लड्डू अथवा तिलकुट के रूप में किया जा सकता है।

काला तिल कब खाना चाहिए?

काला तिल का सेवन गर्म तासीर के होने के कारण सर्दियों के मौसम में खाना फायदेमंद हो सकता है।

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इस लेख में काले तिल खाने के फायदे और नुकसान (kale Til khane ke fayde aur nuksan) के संबंध में वर्णित बातें केवल सामान्य जानकारी प्रदान करने के उद्देश्य से है। आप इसे किसी भी तरह का चिकित्सा परामर्श अथवा विकल्प नहीं समझें।

इसको किसी चिकित्सा विकल्प के रूप में प्रयोग से पहले हमेशा किसी विशेषज्ञ अथवा चिकित्सक से सलाह जरूर लें। हमारी वेबसाईट faydeaurnuksan.in इसमें वर्णित किसी भी चीज की ज़ि

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